राठ मोड़ के सैकड़ों पीड़ितों से नहीं मिले केबिनेट मंत्री , राज्यमंत्री निषाद निषाद ने भी प्रभावित क्षेत्र का किया दौरा
यमुना व बेतवा नदी के बाढ़ का हवाई सर्वेक्षण करने आये भाजपा के जल शक्ति मंत्री स्वतंत्रदेव सिंह ने पीडितो को लंच पैकेट वितरित किये, हर तीन साल में बाढ़ का प्रकोप झेल रहे पीडितो के लिये रिंग तटबंध न बनाये जान के मामले में केविनेट मंत्री ने टालते हुये कहा कि बंधे के मामले को वह देखेगे और आगे बढ़ गये । केबिनेट मंत्री ने स्पष्ट किया कि हर पीडित को समय से भोजन व दवाओ की सुविधाये दी जा रही है। केबिनेट मंत्री ने स्थानीय डिग्री कालेज कुछेछा में जाकर आश्रय पाये बाढ पीडितों से उनका हाल चाल जाना, ब्रम्हा डेरा गाव में जाकर केविनेट मंत्रीने ग्रामीणों से वार्ता की कहा कि पीड़ितों के ठहरने के लिये
उचित प्रबंध किये जाये। उन्होंने कहा कि सरकार हर पीडित के साथ तत्परता से खड़ी है, किसी भी बाढ पीडित को कोई समस्या नहीं आने दी जायेगी। उन्होंने कहा कि जिन लोगों की फसलों का नुकसान हुआ है उनका आकलन करके मुआवजा दिलाया जाये । सरकार को हर पीड़ित की चिंता है जनप्रतिनिधि रात दिन लगे हुये है ताकि किसी को कोई कष्ट न हो, हालाकि हवाई सर्वेक्षण में केवल खानापूरी की गयी। वहीं केबिनेट मंत्री राठ मोड पर आश्रय पाये हजारों पीड़ितों का दुख दर्द पूछने नही गये, जिससे लोगों में नाराजगी देखी गयी वही बाद में एसडीएम राठ अभिमन्यु सिंह चार सौ लोगों को लंच पैंकेट वितरित किये इसके बाद सभी अफसरो ने एसडीआरएफ की नाव में बैठकर भ्रमण किया। आश्रय स्थल की व्यवस्था चमचमाती नजर आयी । वही जलशक्ति राज्यमंत्री रामकेश निषाद ने बाढ़ प्रभावित क्षेत्र का दौरा किया कहा कि प्रशासन सभी पीडितो को सुरक्षित स्थान पर पहुचाए बीमारों को तुरंत दवाये दी जाये। इस मौके पर राठ विधायक मनीषा अनुरागी, सदर विधायक मनोज प्रजापति, हमीरपुर नगर पालिका के चेयरमैन कुलदीप निषाद समेत कई लोग उपस्थित रहे।
पुलिस ने कई पत्रकारों को कवरेज में जाने से रोका बाढ़ का जायजा लेने आये केबिनेट मंत्री का कवरजे करने जा रहे कई पत्रकारों को पुलिस ने एसपी दफ्तर के सामने रोक दिया जिससे लोगो में नाराजगी व्याप्त है, बताया जाता है कि जलशक्ति मंत्री स्वतंत्रदेव सिंह बाढ़ का हवाई सर्वे करने आये जिससे सभी पत्रकार कवरेज के लिये जा रहे थे एसपी दफ्तर के सामने लगी पुलिस ने कई पत्रकारों को जाने से मना कर दिया।
दोनों नदियां अभी भी खतरे के निशान से तीन मीटर ऊपर यमुना व वेतवा नदी का जल स्तर लगातार कम होता जा रहा है हालांकि दोनों नदियां अभी भी खतरे के निशान से कम से कम तीन मीटर ऊपर बह रही है जिससे लोगों को घरों में पानी घुसा हुआ है। कई गांवों में अन्ना पशुओं के लिये जमा भूसा भीग गया है जिससे पशुओं के चारे की समस्या पैदा हो गयी है। पीड़ितों का कहना है की कई दिनों से घरो में पानी भरा होने से मकान दर्रा देने लगे कई मकान फट गये है जिससे उनको गिरने का खतरा उत्पन्न हो गया है। वही यमुना नदी के किनारे मेरापुर गावं में पिचिंग टूट जाने के कारण गांव में पानी भरताजा रहा है बताया जाता है कि पिचिंग दो साल पहले बनायी गयी थी बहुत जल्दी टूट गयी है।












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